हम कई दिनों से सोच रहे थे की के लिए हरकत सरगम गाने में लगाना चाहिए या नहीं |
जिसमें प्रेमी प्रेमिका का गाना हो दिल की बात हो उसमें हरकत और सरगम का प्रयोग जरूरी नहीं क्योंकि दिल की बातों में दिमाग काम नहीं करता शायद इसीलिए किशोर कुमार दिल की आवाज कहे जाते हैं |पूरी तरह से जब हम गानों में खोएंगे तभी तो सुनने वाले श्रोता भी खोएंगे |
हम जब रहरकत और सरगम का प्रयोग करते हैं तो उसमें तो दिमाग लगा देते हैं और जब दिमाग का प्रयोग होता है तो उसमें दिमाग वालों की आवश्यकता होती है| जैसे कि शास्त्रीय संगीत|
मेलोडी में खो जाना ही अच्छा है| हरकत सरगम भी जरूरी है पर सब में नहीं|
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
Always Happy 😊